ड्राईवर की बेटी की चूत का शिकार किया और मोटा लंड उसके भोसड़े में दिया

हेलो दोस्तों, मैं शिवकुमार आप सभी को अपनी सेक्सी स्टोरी नॉन वेज स्टोरी डॉट कॉम पर सुना रहा हूँ। मैं नॉन वेज स्टोरी का बड़ा फैन हूँ और इसका नियमित पाठक हूँ। हर रात मैं यहाँ की मस्त मस्त स्टोरी पढकर खूब मजे मारता हूँ। तो दोस्तों आपको स्टोरी सुनाता हूँ। मेरे पापा एक बड़े बिजनेस मैं हैं। हम लोग नॉएडा के बगल हापुड़ के रहने वाले है। मेरे पापा के पास ७ फैक्ट्रीज है जिसमे तरफ तरफ की स्नैक्स आइटम, बिस्किट, ब्रेड वगेरह बनता है। मेरे पापा बहुत ही बीसी आदमी है। इसलिए उन्होंने एक ड्राईवर रखा है जो हर समय उनको कार से एक फैक्टरी से दूसरी फैक्ट्री और दूसरी जगहों पर ले जाता है।

कुछ दिन पहले हमारे ड्राईवर सुखबीर काका की लड़की निभा मेरे जन्मदिन पर हमारे घर आई तो मैं उसको देखता ही रह गया। क्या खूबसूरती थी उसकी। वो भले ही हमारे ड्राईवर की लड़की थी, पर थी बहुत मस्त माल। दोस्तों, मैं तो निभा को ताड़ता ही रह गया। कोई १८ साल की कच्ची कली थी वो। देखने में बहुत भोली, बहुत शरीफ लग रही थी। मैं उसका चेहरा देखकर समझ गया की निभा अनचुदी है। वो मेरे जन्मदिन की पार्टी में बहुत शर्मा रही थी। जब वेटर उसको कोल्ड्रिंक और जूस ऑफ़र कर रहे थे तो वो जल्दी नही ले रही थी। मैंने अपने ड्राईवर सुखबीर काका [मैं सम्मान से उनको काका बोलता था क्यूंकि उनकी उम्र ४० की होगी] को कुछ मिठाइयाँ दी और उनके पैर छुए।

“आ…जुग जुग जियो बेटा….भगवान करे तुम्हारी उम्र १०० बरस की हो!!..मिलो मेरी बेटी निभा से!!” काका बोले और उन्होंने मुझे निभा जैसी मस्त माल से मिलाया। मैंने उससे हाथ मिलाया और हाल चाल पूछा। फिर सुखबीर काका कही चले गये किसी काम से। मैं निभा से बात करने लगा। उसके लिए मैंने वेटर से स्नैक्स लाने को कहा। वो बहुत शर्मा रही थी। धीरे धीरे वो मुझसे खुल गयी और बात करने लगी। वो फिर हमारे घर हर हफ्ते आने लगी। निभा जादातर सादे रंग के कपड़े पहनती थी। उसे फैसन करना पसंद नही था। पर सादे कपड़ों में ही वो मुझ पर बहुत जुल्म ढाती थी। उसके दूध फूले फूले उसकी सफ़ेद कमीज से बाहर की ओर निकले रहते थे। निभा की भरी कसी कसी छातियाँ आराम से ३६” के उपर की ही होंगी। उसको देखते ही मेरा लंड खड़ा हो जाता था। “हे भगवान!! वो दिन कब आएगा जब इस फुलझड़ी की चूत में लंड डालने का सौभाग्य मुझे मिलेगा!!”

मैं खुद से यही बार बार कहता था। फिर दोस्तों निभा हर दोपहर मेरे घर सुखबीर काका [हमारे ड्राईवर] का टिफिन लेकर रोज आने लगे। एक दिन उसे बाजार में कुछ लड़के छेड़ रहे थे। तो मैंने उन लड़कों से लड़ाई कर ली और निभा को बचा लिया। उसके बाद से हम दोनों की जान पहचान और गहरी हो गयी। एक दिन मेरे घर ५०” वाला led टीवी आया था जो खासकर मेरे कमरे में पापा से लगवाया था। दोपहर में जब निभा सुखबीर काका का टिफिन लेकर आई तो मैंने उसे टीवी दिखाने के लिए अपने कमरे में ले गया। निभा नहा धोकर आई थी। उसके बाल अभी भी गीले थे। निभा का अनचुदा बदन बहुत जादा भरा हुआ था। उसके बस एक नजर देखते ही मेरा लंड क़ुतुब मीनार बन जाता था और उस कड़क माल को चोदना चाहता था।

“बहुत सुंदर टीवी है शिवकुमार!! ….हाय ….कितना बड़ा है!!” निभा मेरा led टीवी देखकर बोली।

“तुमको पसंद आया???” मैंने पूछा

“हाँ !! सच में बहुत सुंदर है!” निभा अपने मुँह पर हाथ रखते हुए बोली। सच में दोस्तों, hd क्वालिटी के चैनेल्स तो बिलकुल क्रिसटल क्लिअर थे जो बहुत सुंदर लग रहे थे। फिर मैं उसे टीवी के चैनेल्स बदल बदलकर दिखा ही रहा था की एक चैनेल पर हीरो हीरोइन के साथ नहाते हुए उसे बाहों में भरके चूम रहा था। मेरा मन मचल गया और मैंने वही चेनेल लगा दिया। उसमे सिर्फ किस ही किस हो रहा था। निभा ने देखा तो शर्मा गयी और इस तरफ देखने लगी।

इसके बाद जरूर पढ़ें  Train me dosti aur Hotel me Chudai

“क्या हुआ निभा??? टीवी से मुँह क्यों फेर लिया???’ मैंने हँसते हुए पूछा

“…..नही मुझे लाज आती है!!” निभा बोली

“क्यों….???” मैंने मजा लेटे हुए पूछा

“….पता नही! ऐसे ही!!” निभा बोली

उसी समय मैंने उसे पकड़ लिया और उसके गोरे साल पर मैंने उसे किस कर लिया। मुझे मुझे अपने से दूर करने लगी। मैंने जल्दी से आगे बढ़कर उसके ओंठ पर किस कर लिया और पीछे हट गया “निभा !! आई लव यू!!” मैंने उससे कहा। तो वो दूर हट गयी और उसने मुँह फेर लिया। मेरे सामने अब उसकी पीठ थी।

“मैं तुमसे बहुत प्यार करता हूँ निभा!! मैं तुम्हारे बिना जी नही पाऊंगा!!” मैंने उससे कहा। फिर वो बिना कुछ कहे चली गयी वहां से। फिर वो ५ दिन तक टिफिन देने नही आई। उसकी माँ और सुखबीर काका की पत्नी अब टिफिन देने आती थी। ६वे दिन निभा मेरे घर आई और सीधा मेरे कमरे में आकर मुझे लिपट गयी।

“शिव !! मैंने भी तुमसे बहुत प्यार करती हूँ!!” निभा बोली और मुझसे गले लग गयी। उसके बाद तो दोस्तों मेरा लौड़ा तुरंत खड़ा हो गया। मैंने भी उसे कई बार आई लव यू बोल डाला और सीने से लगा लिया। मन ही मन मैं उपर वाले को धन्यवाद कहने लगा की उसने इतनी मस्त माल मुझसे पटा दी। मैंने उस दिन निभा को चोदना सही नही समझा वरना वो जान जाती ही मैंने उससे प्यार नही करता हूँ, सिर्फ उसके रूप को भोगना चाहता है, उसकी मुलायम चूत में अपना कठोर लंड देना चाहता हूँ। मैंने उस दिन सिर्फ उसको किस किया। जैसे जैसे दिन बीतने लगे तो मैं हर रात यही ख्वाब देखता ही निभा जैसी मक्खन मलाई मेरी बाहों में पूरी तरफ से नंगी है और मैं घपाघप पेल रहा हूँ। धीरे धीरे मेरी निभा से मुलाकाते बढती चली गयी।

अब मैंने अपनी लिमिट से आगे बढ़ने लगा और उसके सीने पर हाथ लगाने लगा। वो भी मुझको अब पसंद करती थी और प्यार करती थी इसलिए वो कुछ नही कहती थी। अब मेरा उसे चोदने का मौसम और मन पूरी तरफ से बन गया था। एक दिन जब मेरे घर में कोई नही था तो निभा सुखबीर काका का टिफिन लेकर आई। मैंने मौके पर चौका मार दिया और उसे कमरे में जे गया। टिफिन मैंने नीचे हाल में ही छोड़ दिया की अगर सुखबीर काका आये तो उनको टिफिन सामने मिल जाए और उसे लेकर वो चले जाए। हम दोनों एक दूसरे को किस करने लगे। मैंने निभा जैसी कमाल की सामान के दूध दबाने लगा। ओह्ह्ह …क्या बड़े बड़े दूध थे उसके। फिर मैं खुलकर उसके मम्मे उनकी कमीज के उपर से दबाने लगा।

“निभा!!..आज तो मुझे चाहिए!” मैंने मजाक करते हुए कहा

“…क्या???’ निभा बोली

“….वही .” मैं बोला

“ वही क्या???’ निभा भोलेपन से बोली

“……तेरी चू…चूत!!” मैंने कह दिया

निभा पर तो जैसी बिजली ही गिर गयी थी। वो कुछ नही बोली। मै समझ गया की वो चुदवाने को और चूत देने को तैयार है। धीरे धीरे मेरा हाथ निभा के गुप्तागों पर जाने लगे। मैंने उसे कलेजे से चिपका लिया था। हम दोनों मेरे कमरे में खड़े थे और एक दूसरे को बेहद गर्म होकर प्यार कर रहे थे। निभा के हाथ मेरे सर और उनके बालों के बीच में नाच रहे थे। धीरे धीरे मेरे हाथ अपने आप निभा के मस्त मस्त पुट्ठों पर जाने लगा। उसको अंदाजा तो आराम से हो गया था की मेरा दिल उसको चोदने का कर रहा है। फिर भी उसने मुझे नही रोका था। सायद निभा भी मुझसे चुदवाना चाहती थी। वो मुझे सच्चे आशिक की तरफ मेरे गाल, गले और सीने पर अपने फूल जैसे खूबसूरत ओंठों से चूम रही थी।

इसके बाद जरूर पढ़ें  मम्मी के यार से पहली बार चुदी 11 जनवरी 2020 को

वहीँ मेरे दोनों हाथ अब उसके मस्त मस्त पुट्ठों पर पहुच गये थे। और मैं उसके चुत्तरों हो छूने और सहलाने का सौभाग्य ले रहा था। मुझे तो ऐसा लग रहा थी की जैसे मुझे दुनिया की खुशी मिल गयी हो। बड़ी देर तक हम दोनों हीर-राँझा की तरफ एक दूसरे को बाहों में भरे रहे और प्यार करते रहे। मैं निभा जैसी भोली और जवान चोदने लायक सामान के जब पुष्ट पुट्ठे सहला सहलाकर जब तृप्त हो गया तो मेरा हाथ उनकी गांड के छेद की तरफ बढ़ने लगा और मैंने उनकी गांड में हाथ डाल दिया उसके सलवार के उपर से। निभा ने मेरा हाथ पकड़ लिया।

“क्या हुआ जान???’ मैंने पूछा

“…..नही….ये मत करो!!” वो हल्के से बोली

मैंने तीखे तेवर दिखाते हुए उसकी बुर पर हाथ रख दिया। निबा जैसी माल की आँखें शर्म से नीचे झुक गयी। मेरी आँखों में सिर्फ और सिर्फ उसकी रसीली चूत की तस्वीर थी। कितने दिन मैंने उसे चोदने के सपने देखे थे। रोज रात में देखता था की निभा की चूत मार रहा हूँ। वो मुझे मना करने लगी, पर मैंने उसकी बुर से हाथ नही हटाया और उसकी दोनों टांगों के बीच मेरा हाथ बना रहा और मैं उसकी सलवार के उपर से निभा की बुर सहलाता रहा। वो समझ गयी की आज मैं उसकी चूत लेकर रहूँगा। फिर उसने मुझे नही रोका। खड़े खड़े ही मैं कितने देर तक उसकी बुर में ऊँगली करता रहा और सहलाता रहा, ये बात ना तो मुझे याद रही और ना निभा को। कुछ देर बाद उसकी सलवार बुर के उपर गिली हो गयी। उसकी चूत मेरी छुअन से तर हो गयी थी और अपना सर चोदने लगी थी।

फिर मैंने उसको अपने बिस्तर पर ले गया और मैंने उसकी सलवार का नारा खोल दिया। सलवार निकाल दी तो मेरा की निभा जैसी भोली भाली लड़की की पेंटी उनकी चूत के माल से पूरी तरफ से तर हो चुकी थी। मैंने उनकी पेंटी पर जीभ लगा दी और चड्ढी के उपर से ही उनकी बुर का माल पीने लगा। मुझे पता नही कैसा नशा सा चढ़ गया था। कुछ देर बाद मुझसे न रहा गया। मैंने निभा की पेंटी उतार दी। उसकी चूत पर उसका ही ढेर सारा सफ़ेद रंग का मक्खन आ गया था। मैंने निभा के दोनों पैर खोल दिए और उसकी चूत का पान करने लगा, उसकी बुर पीने लगा। ये मनमोहक और मादक खेल बड़ा लम्बा चला। मैंने उसकी चूत खोलकर देखी तो सिल बंद माल थी वो। अभी तक सील टूटी नही थी। किसी से निभा को चोदा नही था। मैं उसके चूत के मुलायम दाने को जीभ से चाटता रहा। कुछ देर में निभा अपनी गांड और कमर उठाने लगी।

मैं समझ गया की वो चुदवाने को पूरी तरफ से तैयार है। अब उसकी बुर में लंड दे देना चाहिए। मैंने अपने सारे कपड़े निकाल दिए और लंड निभा की रसीली चूत पर लगा दिया। और एक जोर का धक्का मारा। मेरा लंड सीधा उसकी चूत में अंदर गहराई तक उतर गया था। जैसे कोई खेत में खूटा गाड़ देता है। निभा दर्द से कराहने लगी। अई ….अई ….ओह आ …..ऊऊ ..उई उई …निभा इस तरफ से कराहने लगी। दर्द में उसका चेहरा मुझे और जादा प्यारा लग रहा था। मैंने निचे से धीरे धीरे अपनी कमर चला चलाकर उसे चोदने लगा। कुछ देर तक उसकी आँखें बंद रही, मैं बीच में नही रुका। और उसे बजाता ही रहा। बड़े देर बाद निभा ने अपनी बड़ी बड़ी काली कलाई गोटियों वाली आँखे खोली। मैंने झुककर उसकी कांच जैसी बेहद खूबसूरत आँखों को चूम लिया और जोर जोर से कमर चलाकर निभा की चुदाई करने लगा। उसने फिर से अपनी नजरे झुका ली। झुकी निगाहों में निभा मुझे और जादा खूबसूरत और सेक्सी और चुदासी माल लग रही थी। मैंने उसे दोनों हाथों में भर लिया और जोर जोर से उसकी रसीली चूत पर मेहनत करने लगा।

इसके बाद जरूर पढ़ें  नींद मे मा की चुदाई - मा के साथ नाजायज़ रिश्ता

मैं जोर जोर से कमर चलाकर अपने ड्राईवर सुखबीर काका की लड़की निभा को चोद रहा था जिसे बजार में लोग किसी रंडी को लेते है। बिलकुल उसी तरफ से मैं निभा को पेल रहा था। कुछ देर बाद मैं उसको इतनी जोर जोर से उसकी रसीली चूत में फटके मारने लगा की उसके दूध हिलने लगे। उसके ३४” के दूध किसी नारियल जैसे नुकीले लग रहे थे। मैंने उसके दूध पर अपने हाथ रख दिए थे और उनको दबा दबाकर निभा को चोद रहा था। २० मिनट तक मैंने निभा को पेला और उसकी चूत पर मेहनत की और फिर मैं झड़ गया। जैसे ही मैने अपना लौड़ा उसकी बुर से निकाला तो निभा के भोसड़े से मेरा माल बाहर की तरफ निकलने लगा। निभा ने सारा माल अपनी ऊँगली में बटोर लिया और पूरा मुँह में लगाकर चाट गयी। उसके बाद मैंने उसके रसीले होठ पीने लगा।

कुछ देर हम दोनों में कोई बात नही हुई। क्यूंकि हम दोनों नंगे थे और एक दूसरे से चिपके हुए थे। मेरे ड्राईवर की लड़की निभा मुझसे एक बार चुद चुकी थी पर मेरा तो अभी उसको और पेलने का मन था। उसके जिस्म से उसकी जनाना भीनी भीनी खुसबू आ रही थी। मैं उस खुश्बू को सूंघ रहा था और मजा मार रहा था। मैंने निभा को अपने सीने से लगा रखा था। उसके ३४” के दूध मेरे छाती के वजन से दब रहे थे और अपना आकार बदल रहे थे। निभा की पीठ बड़ी मांसल, भरी भरी और सेक्सी चिकनी पीठ थी। मैंने कितनी देर तक उसकी नंगी पीठ को सहलाने का सुख लेता रहा, ये तो मुझे भी नही याद था। बड़ी देर तक निभा मेरे सीने पर खामोश लेती रही।

“निभा !!…ऐ निभा!!. अपनी आँखे तो खोलो!!” मैंने प्यार से कहा उसके गाल चुमते हुए

उसने नजरे उठा दी तो लगा की जैसे दिन हो गया हो और सुबह हो गयी हो। चुदाई की लाज उसकी आँखों में मैं साफ़ देख सकता था।

“चुदाई में मजा आया की नही????” मैंने साफ साफ़ किसी बेशर्म लड़के की तरह पूछ लिया। अब चुदवा चुकी निभा लजा गयी और और फिरसे उसने निगाहें गिरा दी। दूसरी बार चुदवाने की तरफ अब मैं बढ़ने लगा। कुछ देर में मेरा लंड उत्तरी कोरिया की परमाडू मिसाइल की तरह फिर से खड़ा हो गया। मैंने लंड को हाथ से पकड़कर निभा की पीठ पर लगाना शुरू किया। निभा पेट के बल मेरे बिस्तर पर औंधी लेटी थी। कुछ देर बाद मैंने बैठकर उसके दोनों पुट्ठों के बीच लंड उसके भोसड़े में दे दिया और उसको आधे घंटे और चोदा और उनकी रसीली चूत का लुफ्त उठाया। उसके बाद दोस्तों हमारे ड्राईवर की लड़की निभा मुझसे पूरी तरह से पट गयी और मैं हर हफ्ते उसकी चूत मारने लगा। ये कहानी आप नॉन वेज स्टोरी डॉट कॉम पर पढ़ रहे है।



segi buwa ke cudi holi pe sexe storymaa ko bete se chudwata dekh behen ne bhi chudwaya hindi sexy kshanisex story maa musa hindi Kahanibhaibahnxxxto baji ko teren me chudai enlish sotryबरी घर लरकीया Xxxtrainmesexkahanividhva ma our beta ko chudai kahaninangi hot dasi saxy bur ki hot chudai story hindimaa beta sex storyrep Sex khani lyrics hindiचोदाई कहानी पापा के साथ बेदरदीदारू सिगरेट चुदाई माँ बहन कथा सेक्शी बहु कु मोटी गाँड मे लंड घुसेड दिया गंदी कहानी बारिश मे बहन को पीछे देखा और चुदाई की कहानीsuhagrat chudai hindi storysakxy kahani bhai bahanचलती ट्रेन में सलवार फाड़ के चोदाBOYFRIEND AND GIRLFRIEND XXX हिन्दी कहानी हिन्दी में लिखा हुआ ।SACHICHUDAIKAHANIA/nonveg-stories/page/10/mummy ne bete ka lund chut me pel kar maja liya sex stories hindimammi.or.papa.chudai.ke.jokes.batayaiBHABHI BHTEJI HINDI SEXE KHANIकैसी लगी मेरी चूचीHindikaniyaxxxकहानी लिखकर बताओ हिँदी मै नाजायजxxx story hindeफौजी भैया ने की चूदाई hindi sex storieschote bhai se chudwayaSaas ne damaad ko viagra khilaya full storyसेक्स कहानी दीदीमाँ सोयी हौ कहानी xexPainful chudai ki kahanididi sex xx story hindichudai purani photo kahani hindikhelte khelte kuwari ladki ki gand mari aur seal todi hindi storyhindi sex kahaniya maa ki chut ka moot sexbabasaxyantervasnakhoon rape balatkar desi sex storiesSexy stori ma ko chodaw. sxx video sas Randi aur damadक्षीर भाभी सेक्स गप मम्मी कौन थी बिस्तर पर चोदा सेक्स स्टोरीDidi ki chudai se rone lagi hindi khaniSixy shiway Marathi zavazavi kathabehan ne badnami se bachaya sex storyभिखारियों की बीएफ बिखारनbhai behan ki sahddi chudai storyचुदक्कङ बीवी की चूत मे दो लंड एक दोस्त का एक मेरा storysuhagraat me kya kya hota hi hindi me lkhit lyricसेक्सी बाईचे आम्मे स्टोरीbhai ne bhai ki gand mari storysuhagraat chudai hotel nangi ahhसाबना भाभी .com .vidomaed aunti big boobSasu.Ma.Cut.Chudi.Sex.Storybahu sasuar ki sat saday ki ha xxx bideoSasur bahu sex storysali ko choda hindi storysex khani mom गरीब घर में बहन भाई हैं सेक्स स्टोरी.comhindi sex khni wifeRandi maa ko hotel me choda sex storyदेवर ने जान निकाल दी सेक्स स्टोरीजsage bhai se chudwaya kahaniमॉम को होटल में ले जाकर खाना खिला कर सेक्स किया एक्स एक्स एक्स हिंदीdesi bhabhi ki bur chodai hindi sexi khaniyabiwi ki kothe pr dardnak chudai story for read/%E0%A4%9C%E0%A4%AC-%E0%A4%AF%E0%A5%8B%E0%A4%A8%E0%A4%BF-%E0%A4%A2%E0%A5%80%E0%A4%B2%E0%A5%80-%E0%A4%B9%E0%A5%8B-%E0%A4%9C%E0%A4%BE%E0%A4%8F-%E0%A4%A4%E0%A5%8B-%E0%A4%AA%E0%A4%A4%E0%A4%BF-%E0%A4%95/चुदक्कड़ कमसिन बेटियों पापा से chudwane की हिंदी कहानियांmarathi vidhava vahini sambhog kathabari bahan and chhote bhai ki dard nak chudi khani likha huaa80 sal ki budia ko choda storyसासु कहने पर ससुर ने मुझे प्रेग्नेंट किया चुदाई कहानीSale ki biwi ko chodi hindi kahanigay ghar ki chuda story in hindPul saks kahne bhai bahan kaSadi suda badi bahan antarwasnaHot mom ki chudai ki kahanibaba par sexy jokes gande.likhitbhai bhn ki chudai ki khani nyilesbian sexkahanisis chudai कहानीSexkahanipetticoatwww.saliki pahli raat ki chudai hindi video aur stori.comबेटे का सोडोल लंड मां ने देखा कहानी चुदाईCHUT KI CHUDAI CAMPAIGN KE TIME KAHANIbai na apne sote bahan ko choda kahaneबीवी के बदले बहन को चोद दिया कहानीबड़ी चूची वाली भाभी को चुदने का मन