हेलो दोस्तो मेरा नाम निशांत है. मैं कानपुर मे रहता हूँ. मैं आपको एक सच्ची कहानी आपके साथ साझा करने जा रहा हू आपको पसंद आएगा. मैं २३ साल का नौजवान हू, मैं अभी एक अच्छी कंपनी मे जॉब करता हूँ. अब कहानी पे आते है. मैं जब कॉलेज मे था तभी. हुमारे कॉलेज मे एक टीचर थी अंजू नाम था उनका उनकी उम्र करीब ३५ साल की थी वो बड़ी ही मस्त थी. वो वो इंग्लीश की क्लास लेती थी. उनकी हाइट कुछ 5’’ फुट थी. लेकिन उनके बूब्स और गांड बहुत बड़े थे. उनकी गांड बाहर निकली थी. जब भी उनका लेक्चर रहता था. मैं उन्हे देखकर तो आपने लंड को सहलाने लगता था. वो मुझे बोहोट ही सेक्सी लगती थी. कभी कभार उनका भी ध्यान मेरे तरफ जाता था. लेकिन वो कुछ बोलती नही थी. ये देखते देखते करीब कई साल गुजर गये मान के चलिए करीब ३ साल मैं मूठ मार के काम चलाया,
मेरा कॉलेज ख़तम हुआ और मैं जॉब पे लग गया. और तभी मेरे कुछ डॉक्युमेंट्स कॉलेज मे रह गये थे. उसे लेने के लिए मुझे एक बार कलाज जाना पड़ा था. तो दूसरे दिन मैं चला गया कलाज. वाहा जाके कुछ पुरानी यादे ताज़ा होगआई थी. बोहोट अच्छा लग रहा था. फिर मैं टीचर्स रूम मे गया. और तभी मेरे सामने वही टीचर खड़ी थी. जिससे मैं सपनो मे लेकर मूठ मरता था. तभी उन्होने मुझे देखा और मैने भी उन्हे देखा. फिर मैने सोचा चलो बात करता हूँ. मैं: हेलो अंजू मेडम, पैचाना.? अंजू मेडम: हाँ.. तुम निशांत हो ना मैं: बिल्कुल सही पैचाना मेडम. आप कैसी हो? मेडम: मैं ठीक हूँ. तुम बताओ आज इतने दीनो बाद कलाज की कैसे याद आई. मैं: अरे मेडम वो कुछ डॉक्युमेंट्स लेने थे. ऑफीस मे देने के लिए.
मेडम: ओक…निशांत..बाकी सब ठीक चल रहा है.
मैं: हाँ मेडम. आप अभी भी वैसी ही हो जैसी पहली थी.
मेडम: श निशांत तुम भी ना..( और मेडम थोडा शर्मा गयी)
मैं: ओक मेडम..मैं वो डॉक्युमेंट्स लेकर आता हूँ..बाद मे मिलता हूँ आपसे जाते वक़्त.
मेडम: ओक निशांत ठीक है..बाइ
और मैं वाहा से कलाज के ऑफीस रूम मे चला गया और वाहा से मेरे डॉक्युमेंट्स लेके. मैं जाने के निकल रहा था. तभी सोचा एक और बार मिल लेता हूँ अंजू मेडम से पता नही फिर कब मुलाकात हो उनसे. इसलिए मैं वापस टीचर रूम की तरफ जर आहा था. तभी वो सामने से आगाय.
अंजू मेडम: हेलो निशांत हो गया तुम्हारा कम?
मैं: हाँ मेडम हो गया बस आपको ही बाइ करने आ रहा था.
मेडम: श..सो स्वीट ऑफ उ..आक्च्युयली मैं भी निकल रही थी घर के लिए.
मैने सोचा क्यूँ ना मेडम को लिफ्ट दी जाए और थोडा चान्स भी मिल जाएगा.
मैं: ओक मेडम मैं चोद देता हूँ आपको घर पे मैं बिके लेकर आया हूँ.
मेडम: ओकक निशांत ठीक है मैं अभी आती हूँ.
और फिर थोड़ी देर बाद मेडम आई. और मेरे पीछे बैठ गयी..आहह क्या एहसास था वो& मैं तो बोहोट खुश था..मी ड्रीम लेडी.. मेरी बिके पे बैठी है..और उन्होने आपना एक हाथ मेरे कंधे पे रखा. फिर हम लोग उनके घर के नोचे पोोच गये. और मैने कहा.
मैं: ओक मेडम, मैं चलता हूँ अब.
मेडम: अरे ऐसे कैसे पहली बार घर आए हो चलो छाई पीके जाना.
मैं: नही मेडम इट्स ओक..फिर कभी अवँगा.
मेडम: अरे ऐसे नही चलेगा. मैं मेडम हूँ तुम्हारी मेरा खाया मानना पड़ेगा.
मैं: हाहाहा..ओक..मेडम चलो..
और हम दोनो लिफ्ट से मेडम के घर आगाय..उनके घर मे कोई नही था..उनके हज़्बेंड ऑफीस गये थे और बच्चे स्कूल गये थे.
मैं: श..वाउ आपका घर आपके जैसा ही बोहोट खूबसूरत है.
मेडम: थॅंक उ निशांत.तुम बैठो मैं अभी आती हूँ.
और मेडम अंडर चली गयी. मैं तो बैठे बैठे ये सोच रहा था काश कोई मौका मिल जाए जिससे मैं उन्हे चोद साकु. मेरा लंड तो बार बार खड़ा हो रहा था. मैं तो बैचें हो रहा था. फिर मेडम आई और इसबार उन्होने सिर्फ़ एक नाइटी पहाँी थी. और वो देखकर तो मेरा लंड तूफान जैसे खड़ा हो गया. और वो मेरे पेंट मे से दिखाने लगा था. मुझे कुछ समाज नही आरहा था.
मैं: मेडम बाथरूम कहा है. मैं फ्रेश हो के आता हूँ.
मेडम: ओक निशांत आओ अंडर हे.
और मैं उनके पीछे पीछे चला गया. और मैं बाथरूम मे गया तो देखा उनकी पनटी वही पे पड़ी थी. मैने उसे उठाया और सूंघने लगा…आह…क्या खुश्बू आ रही थी. और वो थोड़ी गीली भी थी. मैने उसे आपने लंड पे रखकर हिलने लगा और वही पे मूठ मरने लगा..लेकिन तभी बाहर से मेडम ने आवाज़ दी. और मैं फ्रेश होके बाहर आ गया.
मेडम: निशांत कोई प्राब्लम है क्या. इतना टाइम लगाया.
मैं: नही मेडम वो ज़रा…..
और मेडम की नज़र सीधा मेरे लंड पे गयी जो अभी भी खड़ा था. मैं वाहा से सीधा आके सोफे पे बैठ गया. और मेडम ने मेरी तरफ देख कर एक नॉटी सी स्माइल दी और कहा.
मेडम: आ..ओक तुम बैठो मैं तुम्हारे लिए छाई बनके लाती हूँ.
और मेडम किचन मे जाके छाई बनके लेके आई. और मेरे ही बाजू मे बैठ गयी. और छाई देने लगी. उनके बूब्स मेरे कंधो को रब कर रहे थे. और मुज़ासे रहा नही जा रहा था.
मैं: मेडम आपके हज़्बेंड और बच्चे कब आएँगे.
मेडम: हज़्बेंड तो रत को आते बच्चे 6 बजे तक आजाएँगे.
मैं: ओकक..मेडम मेडम: और निशांत तुम्हारा कैसे चल रहा है जॉब. कोई गर्ल फ्रेंड पताई की नही अभी तक.
मेडम के मूह से ये सुनके मैं थोडा शॉक रह गया और उनकी तरफ देखने लगा.
मेडम: अरे निशांत अब तुम बड़े होगआय हो. और ये सब बातें अब नॉर्मल हो गयी है.
मैं: हाँ मेडम वो तो है. नही मेडम अभी तक नही मिली मुझे कोई आपने जैसी.
मेडम: अच्छा तो तुम्हे कैसी लड़की चाहिए.
मैं: अगर बता दूं तो आपको गुस्सा नही आएगा ना.
मेडम: ओफ़कौरसे नोट.
और मेडम थोडा और चिपक के बैठ गयी. मैने मेडम की आँखो मे आँखे दल के कहा.
मैं: मेडम मुझे ना आप जैसी लड़की चाहिए.
मेडम: श..निशांत..ऐसा क्या है मुज़ामे जो तुम्हे मैं इतनी अच्छी लगती हूँ.
इतना कहके और उन्होने आपना हाथ मेरे कंधे पर दल दिया.
मैं: मेडम मैं तो जबसे कलाज मे था तब से आप मुझे बोहोट अच्छी लगती थी. मैं दीवाना था आपका और आज भी हूँ.
मेडम: अच्छा इसीलिए तुम हर रोज़ मुझे इतना घूर घूर के देखते थे उ नॉटी बॉय.
और उन्होने मुझे आपने गले लगा कर मेरे गॅलन पर एक पप्पी दे दी. मैं तो होश मे ही नही था. फिर मैं भी उन्हे धीरे धीरे सहलाने लगा था. उनकी आँखे भी अब एकद्ूम नशीली लग रही थी.
मेडम: ह..निशांत..और क्या क्या अच्छा लगता है..तुम्हे मुज़ामे..शरमाओ मत जॉब ही है..बताड़ो मैं: आपके ये आँखे, आपके कोमल गुलाबी हूठ, आपके…. मेडम: अब बोलो भी ना निशांत..आह..और मत तड़पाव&;मुझे भी तुम बोहोट आचे लगते हो..उम्म्माआआ….आआआ
मैं: मेडम आप सच मे बोहोट खूबसूरत है…आपके ये बड़े बड़े बूब्स..कितने आचे लगते..और आपकी ये पतली कमर..आ..मेडम…जी तो करता है..बस इन्हे ही देखता राहु…
मेडम: आ..निशांत तुम्हे कितनी कडर है..मेरे जिस्म की और मेरे पति तो अभी ध्यान भी नही देते..उ र सो स्वीट..डियर..और तुम्हे मेरी ये बड़ी गांड कैसी लगती है..जिसे तुम बचपन मे किसी ना किसी बहाने से टच करते थे.
ये बात सुनके मैं थोडा हैरान रह गया..और मेडम को उठाके आपने सामने खाद किया और उनके गांड को मसलने लगा..
मैं: मेडम आपकी गांड तो जन्नत है..देखो कितनी सॉफ्ट है..आआआआआः……जैसे..कोई…रयी की गद्दी हो..अहह….
मेडम: आ…निशांत…तुम आपनी टीचर की गांड को दबा रहे हो.आह….हह….
मैं: हाँ मेडम…आपकी गांड बोहोट नरम है..अहह…आह…..आह…ह.ह..ह.बोहोट मज्जा आरहा है…दबाने मे..आआाअघह….
और मैने उनकी नाइटी मे हाथ डालके उनकी गांड को दबाने लगा..ज़ोर ज़ोर से..
मेडम: श..निशांत….दब्ाओ और ज़ोर से दब्ाओ मेरी गांड..आह….
और उन्होने आपने हूठ मेरे हूठो पे लगाके किस करने लगी..उससे मुझे और जोश आया और मैं उनकी गांड और ज़ोर से दबाने लगा..ह….फिर उन्होने मेरा त-शर्ट निकल दिया और मैने उनकी नाइटी भी निकल दी..आह….क्या माममे थे उनके एकद्ूम गोरे गोरे. और उसपे ब्राउन कलर के निपल्स…फिर मैने उन्हे सोफे पे लिटाया. और उनको चूमने लगा…उनके हारे क आन गांग को चूम रहा था..मुझे पता नही क्या होगआया था…मैं पागलों की तरह उन्हे चूमे जा रहा था.
मेडम: आ…ओह…निशांत..इतना प्यार करते थे आपनी अंजू मेडम से….अहह…..
मैं: हहानं मेडम…बोहोट श…..
और मैं उनके बूब्स चूसने लगा…
मेडम: ऑश…चूसो मेरे डियर स्टूडेंट …आ.हह..और ज़ोर से चूसो…भोोट अच्छा लग रहा है…अहह..चूसो मेरी जान चूसो….अहह…..
और मैं उनके बूब्स चुसते चुसते उनके पेट और नाभि को भी चूमने लगा…वो सिर्फ़ सिसलारिया ले रही थी और मेरे बलों को सहला रही थी…ह…कितना सच मिल रहा था..मुझे..फिर मैं…नीचे जाके उनकी पनटी के उपर से चुत को छत रहा था….
मेडम: आह..निशांत..क्या कर रहे हो…
मैं: आपको प्यार कर रहा हूँ…अहह…उम्म्म्माआआआ……
मेडम: श….निशांत तुमने तो मुझे पागल ही कार्डिया है..अहह….
और मैनर उनकी पनटी नीचे करके …उसे चूसने लगा…अहह….क्या स्वाद था…उनकी चुत..का…
मेडम: आह…निशांत..चूसो….बेटा…और चूसो..बोहोट अच्छा लग रहा है…अहह…इतना मज्जा पहले कभी नही आया था…अहह…..चूसो..और ज़ोर से….अहह…खा जाओ मेरी चुत को..अहह.
करीब 15 से 20मीं तक मैं उनकी चुत को चुसता रहा…अहह…और वो ज़द गयी..मैने उनका सारा रूस पीलिया..अहह…
मेडम: उ र सो ग्रेट निशांत.इन तट आक्षन .आह…अब चोद दो मुझे…जल्दी से…निशांत…डालडो तुम्हारा लंड तुम्हारी टीचर की चुत मे..
मैं: ओक..मी स्वीट मेडम….उम्म्माआआआआअ….मुआाहह….
और मैने आपना लंड उनकी चुत के उपर रख कर रगड़ने लगा….अहह…..
मेडम: आह..निशांत…कितना तड़पओगे दल दो ना अंडर..आ.हह…आपनी टीचर की बात नही मनोगे क्या..आअहह…
मैं: हहााआ….मेडम…ज़रूर मानूँगा..अहह….
और मैने उनको वही सोफे पे आधा लिटके उनके दोनो पैर आपने खांडे पर रख एक ज़ोर का धक्का मारा..मेरा आधा लंड मेडम की चुत मे घुस गया…मेडम की चीख निकल गयी..
मेडम: आआअहह..निशांत..धीरे करो ना….डर्द हो रहा है…बोहोट दीनो बाद चुड रही हूँ…ह…..धीरे धीरे चोदा…अहह..
फिर मैं उन्हे धीरे धीरे चोदने लगा…और आपनी स्पीड बदाता चला गया..
मैं: ह..मेडम आपकी चुत कितनी नरम और गरम..है..अहह..कितना मज्जा आरहा है आपको चोदने मे….आह..अहह….काश मैं पहले से….ही आपकी चुदाई..कर पता…अहह………
मेडम: आह….अहह..चोदा मुझे और ज़ोर से चोदा…..आहह….हा निशांत…अगर मैं तुम्हे पहले ही पहचान पति..तो अब तक कितना मज्जा किया होठा ह्युमेन..अहह….
अब मैं उनके बूब्स दबाते दबाते उन्हे चोद रहा था फुल स्पीड मे…अहह…….आआअहह…..उनके रूम मे सिर्फ़ चुदाई की ही आवाज़े आ रही थी…कुछ 20 से 25मीं बाद..मेडम ने कहा…
मेडम: आआअहह….निशांत ई म कमिंग डियर….डोंट स्टॉप..आह…..फक मे हार्डर बेबी…आह..हार्डर…अहह…आआआआआआआआआआहह……………….
और वो थोडा शांत होके लेती रही..लेकिन मेरा अभी तक बाकी था…
मैं: श..निशांत…कितना स्टॅमिना है..तुममे….आह…लाओ मैं इससे थोडा चूस देती हूँ…
और फिर मेडम ने मेरा लंड..आपने मूह मे लेके चूसने लगी….आह…कितना अच्छा चूस रही थी….पूरा लंड अंडर लेती बाहर निकलती थी…आआ
मैं: आह….मेडम….उ र सो गुड इन तट….आ..हह….चूसो…और ज़ोर से..आआहह…..
फिर थोड़ी देर बाद मैने उन्हे उठाया और घोड़ी बनाना को कहा उन्हे पता चल गया मैं उनकी गांड मारना चाहता हूँ..
मेडम: आ…निशांत…..तुम्हे मेरी गांड मारनी है…डियर..
मैं: आह..मेडम इसके बिना तो सूब कुछ अधूरा है…और आप जानती हो आप की गांड मुझे कितनी प्यारी लगती है..
मेडम: अहहाअ..बेटा…लेकिन उसके पहले वॅसलीन लगा लेना क्यूंकी मैने कभी मरवाई नही है…और तुम्हे ना भी नही कह सकती..इतने प्यारे हो तुम..
फिर मैने वॅसलीन लिया और उनकी गांड के छेद को लगाया और थोडा मेरे लंड पे लगाया….और उन्हे घोड़ी बनके पीछेसे आपना लंड उनके गांड पे सेट कर दिया…
मेडम: बेटा धीरे धीरे करना ….बोहोट डर्द होठा है,, इसमे….
मैं: डॉन’त वरी मेडम मैं हूँ ना…बोहोट प्यार से आपकी गांड मारूँगा…
और मैं.धीरे धीरे मेडम की गांड मे आपना लंड घुसने लगा….पहले पहले मेडम चिल्लाई बाद मे उन्हे भी मज्जा आने लगा….
मैं: अहह…मेडम सच मे आपकी कितनी कड़क है…चोदने मे बोहोट मज्जा आरहा है..अहह……
मेडम: आह..निशांत….मुझे भी मज्जा..आ रहा है…चोदा मेरी गांड…को….आआआआअहह……
और मैं ज़ोर ज़ोर से उनकी गांड मरने लगा…आआआअहह….फिर करीब 15 मीं बाद मैं ज़डने को आने लगा..
मैं: आहह…मेडम मेरा निकालने वाला है..कहा निकालु…आआआहह..
मेडम: अंडर ही डालडो……डियर…..
मैं: आआआअहह………………………
और मेरा पूरा माल मेडम की गांड मे चला गया……..आआआआहह…….फिर हम लोग एकदुसरे पे नंगे ही सोए हुए थे..फिर थोड़ी देर बाद उठकर ह्युमेन फिर एक बार चुदायिकी…..
मेडम: आ..निशांत..सच मे बोहोट अच्छा लग रहा है…अब जब भी मुझे तुम्हारी ज़रूरत होगी..मैं तुम्हे कॉल करूँगी…आओगे ना….
मैं: हाँ मेडम ज़रूर आवँगा आपकी बात तो माननी ही पड़ेगी ना..
और मैं उस्दीन वाहा से निकल गया..अब जब भी उन्हे मौका मिलता है..वो मुझे फोन कर के बुला लेती है…और हम दोनो बोहोट एंजाय करते है…तो दोस्तो कैसी लगी मेरी स्टोरी…प्लीज़ कॉमेंट करे..और अगर किसी आंटी’स गर्ल्स को..एंजाय करना है